मुझे बस तलाक चाहिए। Family Long Hindi Story | Emotional Hindi Story | Best Hindi Story

Family Long Hindi Story : मेरा नाम नादिया है आज की मेरी यह कहानी सुनकर आप लोगों की चीख निकल जाएगी आखिर मेरी जिंदगी ने मुझे इतने दुख दिए कि मैं खुद भी अपने दुखों को संभालने के काबिल नहीं रही हूं मेरा इस दुनिया में कोई नहीं है मेरे माता-पिता काफी सालों पहले ही मुझे इस दुनिया से छोड़कर चले गए थे मुझे मेरे चाचा चाची ने ही पाल पोस करर बड़ा किया था वह दोनों मुझे इतना प्यार नहीं किया करते थे जितने मेरे सगी माता-पिता मुझसे प्यार करते लेकिन उन्होंने मेरी परवरिश अच्छी की थी

मुझे पढ़ाया लिखाया था बस मेरे लिए यही काफी था एक दिन मेरे लिए एक बिजनेसमैन लड़के का रिश्ता आया तो मेरे चाचा चाची ने जल्दी ही मेरी शादी कर दी उन्होंने लड़की की फैमिली के बारे में भी जानने की कोशिश नहीं की जबकि मेरी शादी इतनी जल्दबाजी में की थी कि मैं खुद भी हैरान रह गई थी फिर मैं यह सोचकर सबर कर लिया करती थी कि मैं उनकी अपनी औलाद नहीं हूं इसलिए यह मेरे लिए कोई भी फैसला सोच समझकर नहीं करते हर फैसला जल्दबाजी में करते हैं

और गलत करते हैं लेकिन मेरे लिए यही बहुत था कि मैं इस घर से निकलकर अपने ससुराल पहुंचने वाली थी जब मैं शादी करके अपने ससुराल गई तो मैंने देखा कि मेरा पति बिजनेसमैन है जबकि उनका कारोबार अच्छा है उनका घर भी अच्छा था और मेरे ससुराल में मेरे पति के अलावा और कोई नहीं था मेरे पति के मां-बाप दूसरे शहर में रहते थे और उनको उनके बेटे की शादी करने से कोई प्रॉब्लम नहीं थी वह हमारी शादी में भी शामिल नहीं हुए थे

और शादी के बाद भी उनके मां-बाप मुझसे मिलने के लिए नहीं आए थे मेरे पति का नाम राशिद था मेरे पति सच में इस दुनिया के सबसे अच्छे पति थे क्या कहूं कि मेरे पति इस दुनिया के सबसे नेक और अच्छे इंसान थे मेरी शादी को 5 साल हो गए थे और अभी तक मेरे पास कोई औलाद नहीं थी लेकिन मेरे पति ने इस बात का मुझे कभी ताना नहीं दिया मेरी शादी को 5 साल हो गए थे मैं कोई बहुत ज्यादा खूबसूरत भी नहीं थी मेरा वजन भी अब बढ़ने लगा था

मैं बहुत मोटी हो गई थी कभी-कभी तो मैं यह सोचकर हैरान होती थी कि मेरे पति ने आखिर मुझ में ऐसा क्या देखा जो मुझसे शादी कर ली जबकि वह तो एक बहुत बड़े बिजनेसमैन आदमी है मेरे साथ ऐसी परेशानी थी जिसकी वजह से मेरे पास औलाद नहीं हो रही थी और मेरा वजन भी बढ़ता चला जा रहा था डॉक्टर ने मुझे यही कहा था कि वजन कम करोगी तो औलाद हो जाएगी

लेकिन वजन कम नहीं हो रहा था मेरे पति ने मुझे बस इतना ही कहा कि इलाज करवाते हैं उन्होंने कभी यह नहीं कहा कि तुम्हारी वजह से औलाद नहीं हो रही अभी तक मैं बाप नहीं बन सका हूं मेरे पति और मैं बहुत अच्छे घर में सुकून से रहते थे मेरे पति बिजनेसमैन आदमी थे वह अपने काम से ही मतलब रखते थे हम दोनों की ऐज में ज्यादा फर्क नहीं था मेरे पति सिर्फ मुझसे 2 साल बड़े थे लेकिन वक्त और हालात ने हमें उम्रद बना दिया था

क्योंकि हम अपना ख्याल ही नहीं रखते थे औलाद का ना होना इंसान को अंदर ही अंदर खाया जाता है अगर आपका हमसफर आपको ताने नहीं देता तब भी आप खुद भी तो यह सोचकर परेशान रहते हो कि अभी तक औलाद क्यों नहीं हो रही 5 साल का टाइम मुझे बहुत लंबा ल लग रहा था मेरे पति और मेरे बीच इस टॉपिक पर कभी लड़ाई नहीं हुई थी और वैसे भी हमारी ससुराल में कोई बात करने वाला भी नहीं था मेरे पति का इस दुनिया में कोई नहीं था

और मेरा भी कोई नहीं था बस मेरे भी चाचा चाची थे तो मेरी शादी करने के बाद उन्होंने भी मुझसे सारे रिश्ते खत्म कर दिए थे व मेरी शादी के बाद कभी मेरे ससुराल आए ही नहीं थे कभी उन्होंने मेरी खबर लेने की कोशिश भी नहीं की हमारे घर में लोगों का ज्यादा आना जाना भी नहीं था लेकिन आज मेरे पति की फुप्पो हमारे घर पर आई थी जो कि दूसरे शहर में रहती थी और काफी सालों बाद यहां अपने भतीजे से मिलने के लिए आई थी और वह मेरी सांस बनना चाह रही थी

उन्होंने मेरे ऊपर अब मेरी सांस वाले डायलॉग मुझे मारना शुरू कर दिए अगर मेरे पति की मां जिंदा होती और वो इनकी तरह ही चालाक होती तो वह मुझे ऐसे ही डायलॉग मारती जैसे कि राशिद के फुप्पो ने मारे थे वह हमारे घर पर पांच दिन के लिए आई थी और उन्होंने मुझे पांच दिन में ही इतने ताने दिए कि मैं उनसे उकता गई थी

और मन कर रहा था कि वह जल्द से जल्द हमारे घर से चली जाएं वह मुझसे कहती थी कि देखो बहू घर सोना पड़ा है कल को तुम लोग बीमार हो जाओगे तुम्हें कोई पानी पिलाने वाला या खाना खिलाने वाला भी नहीं होगा तुम्हारा पति कारोबारी आदमी है कारोबार करता है

और घर के काम भी करता है उस बेचारे को भी औलाद की तलब होती होगी लेकिन वह तुमसे कहता नहीं होगा घर के हजारों काम होते हैं वह सारे काम करता है सिर्फ तुम्हारे लिए और तुम्हारी खुशी के लिए तुम्हारी सारी जरूरत को पूरा कर रहा है माना कि वह एक बिजनेसमैन आदमी है उसका काम सिर्फ अपने बिजनेस को संभालना है यह काम नहीं है कि वह तुम्हारे साथ घर के भी काम संभाले मैंने कहा कि लेकिन फुप्पो घर में तो सभी मर्द काम करते हैं

मेरे पति चाहे तो नौकर भी रख सकते हैं लेकिन मैंने ही उनको मना किया हुआ है क्योंकि आजकल किसी का कोई भरोसा नहीं और वैसे भी हम दोनों का कोई इतना काम नहीं है इसलिए मुझे बाहर का काम होता है सब्जी वगैरह लाना तो वह मेरे पति मुझे लाकर दे देते हैं इसमें कोई शर्म वाली बात नहीं है जो मर्द अपनी औरतों को घर से बाहर नहीं निकालना चाहते तो वह खुद ही ये सारे काम कर लेते हैं और इसमें कोई गलत बात भी नहीं है हर आदमी को अपनी पत्नी का साथ देना चाहिए

उसके साथ काम में हाथ बटाना चाहिए फुप्पो ने कहा कि अपनी जिंदगी में वह जो कुछ भी कर रहा है सिर्फ तुम्हारे लिए ही तो कर रहा है अगर उसकी अपनी कोई औलाद होती तो उसका सहारा बनती लेकिन उसकी तो कोई औलाद ही नहीं है इसलिए वह बेचारा सब कुछ अकेला ही कर रहा है मैंने फुप्पो से कहा फुप्पो ऐसा तो नहीं है कि अगर बच्चा पैदा हो जाए

तो वह पैदा होते ही अपने पिता का सहारा बन जाता है लड़का हो या लड़की पैदा होते ही तो काम करने नहीं लग जाता ना पपो मेरी इस बात पर गुस्सा हो गई और मेरे पति के घर आने के बाद उन्होंने मेरी उनसे शिकायत लगा दी कहने लगी कि तुम्हारी पत्नी से कुछ नहीं आता बस जबान चलानी आती है यह तुम्हें कहां से मिल गई थी तुम इतने अच्छे हो तुम्हें तो कोई भी अपनी बेटी आसानी से दे सकता था ना जाने तुम कितनी बदतमीज लड़की अपने साथ लेकर आ गए

हो मेरे पति ने उनसे कहा कि यह मेरी पत्नी है और मैंने इससे शादी करके कोई गलती नहीं की है मैं इसके साथ अपनी जिंदगी में बहुत खुश हूं मेरी जिंदगी में सब कुछ बिल्कुल ठीक है फुपू तो बहुत सारा जहर हमारी जिंदगी में घोलकर चली गई थी मैंने उनके साथ बड़ी मुश्किल से यह पांच दिन गुजारे थे वह तो शुक्र था कि हम दोनों के बीच झगड़ा इतना बड़ा नहीं हुआ था मैंने बस अपने पति से यही कहा कि उनको यह सब कुछ नहीं बोलना चाहिए था

उस पर मेरे पति ने जवाब दिया कि अबब कोई घर पर आ जाए तो क्या किया जाए और फिर यह कोई छोटी बात तो नहीं है जो है सो है हमारे यहां पर अभी तक औलाद हुई भी तो नहीं है और परेशानी तुम्हारे अंदर है यह तुम्हें भी पता है मेरे पति की जबान पर आज तक यह शब्द नहीं आए थे पर आज शायद वोह बहुत परेशान थे व घर से गुस्से में चले गए और मैं रोने बैठ गई थी मैं रोती रही दो घंटे रोने के बाद जब वह वापस आए तो अकेले नहीं थे

उनकी गोद में एक बच्ची थी जिसको देखकर मैं हैरान रह गई थी मैंने उनसे पूछा कि यह कौन है मैंने देखा कि वह एक लड़की थी उसकी उम्र काफी कम थी शक्ल सूरत से बहुत प्यारी लग रही थी और बहुत भूख भी लग रही थी जैसे उसने काफी दिनों से कुछ नहीं खाया था यह जैसे वह कोई भिकारी की बच्ची थी मेरे पति ने कहा कि यह मुझे सड़क पर मिली है इसका इस दुनिया में कोई नहीं है लोग इसको मार रहे थे जबकि यह किसी की रोटी चुराकर भाग रही थी

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क्योंकि इसको भूख लग रही थी मैंने उन लोगों से इस बच्ची को बचा लिया और मैं इसको अपने घर लेकर आया हूं तो तुम जरा इसके लिए खाना बनाओ मैंने कहा ठीक है मेरे पति के घर में बहुत मर्जी चलती थी वह जो भी कहते थे मैं उसे हमेशा ठीक कहकर ही जवाब दिया करती थी मैंने कभी उनसे कोई सवाल जवाब नहीं किया था और वो कोई बुरा काम करके नहीं आए थे वो लड़की बहुत अच्छी और शक्ल से बहुत मासूम और भूख लग रही थी

मेरे पति ने कहा कि मैं उसको कुछ कपड़े दिला देता हूं ताकि ये नहा धोकर साफ सुथरी हो जाए मेरे पति मार्केट से जाकर उसके लिए कपड़े लेकर आ गए थोड़ी देर बाद वो हा धोकर साफ सुथरी हो गई जब हमने उससे उसका नाम पूछा तो उसने कहा कि मेरा नाम रम है मुझे मेरे पिता का नाम नहीं पता उसने हमारे साथ बैठकर खाना खाया वह इतनी बेचैनी के साथ खाना खा रही थी जैसे बहुत दिनों बाद उसने खाना देखा हो हमारे दिल में भी शुक्र पैदा हो गया कि हम रोज इतना अच्छा खाना खाते हैं

लेकिन हमने कभी दिल से शुक्रिया अदा नहीं किया और यह बेचारी कैसे खाना खा रही है मेरे पति ने उसे कमरे में सोने के लिए कह दिया वह मेहमानों वाले कमरे में सो रही थी और मैं और मेरे पति अपने कमरे में थे हम दोनों ही छत की तरफ देख रहे थे मैंने कहा कि आपने रम को यहां क्यों रोक लिया मेरे पति ने कहा कि अब वह हमारे साथ ही हमारे घर में रहेगी

और मैंने सोच लिया है कि हम उसे गोद ले लेंगे और अपनी बेटी बना लेंगे शायद हमें पहले ही यह सब कुछ कर लेना चाहिए था मैं उन मर्दों में से नहीं हूं जिनको अपनी नस्ल बढ़ाने की फिक्र ना हो और अपनी पत्नी का इलाज ही करवाते रहे और इंतजार ही करते रहे कि उसी से औलाद हो जाएगी और फिर हार मानकर दूसरी शादी कर लें वैसे तो मुझे लड़के की चाहत थी क्योंकि व नस्ल को आगे बढ़ाता लेकिन अब जब मेरे नसीब में लड़का नहीं है

तो लड़की ही सही मां-बाप बनने के लिए बच्चा पैदा करने की जरूरत नहीं होती दुनिया में ऐसे भी बहुत बच्चे हैं जिनके पास मां-बाप नहीं है और उनको गोद ले लिया जाए तो आप भी मां-बाप बन सकते हैं मेरे पति की बातें सुनकर मेरी आंखों में खुशी के आंसू आ गए थे मैं तो कब से यही करना चाहती थी लेकिन मैं छोटे बच्चे को अडॉप्ट करना चाहती थी

इतने बड़े बच्चे को नहीं रम 5 साल की थी और सब कुछ जानती थी उसमें काफी समझ भी थी लेकिन मुझे तो छोटे बच्चे बहुत अच्छे लगते थे खैर कोई बात नहीं इंसान तो इंसान होता है अगले दिन मैंने इरम से पूछा कि क्या तुम हमारे साथ रहना चाहती हो यह बात सुनते ही रम की आंखों में खुशी के आंसू आ गए उसने कहा कि मैं आप लोगों को छोड़कर कहीं नहीं जाना चाहती और मैं आपके साथ ही रहना चाहती हूं बहुत ही मासूम बच्ची थी मैंने उसे मां बनकर पालना शुरू कर दिया

वो इतनी समझदार थी कि जाकर दुकान से सामान भी ले आया करती थी उसने अपने आप मुझे मम्मी भी कहना शुरू कर दिया था और मेरे पति को पापा ऐसा लगने लगा था कि घर में जो इतनी बड़ी परेशानी थी अब वह हल हो गई है जो लोग हमें जानते थे उनको इस बारे में पता चल गया कि हमने किसी की बच्ची को अपने घर में रख लिया है और अब उसको पाल रहे हैं लेकिन जिन लोगों को पता नहीं था हम उनको यही बताते थे कि यह हमारी ही बेटी है लोग कहते थे कि क्या सच में यह आपकी बेटी है

हमारी फैमिली छोटी सी स थी हमने रम का स्कूल में भी एडमिशन करवा दिया था ताकि वह थोड़ी बहुत पढ़ाई भी करें वैसे उसका दिमाग पढ़ाई की तरफ बिल्कुल भी नहीं था वह सड़कों पर रहती थी लेकिन फिर भी मैं चाहती थी कि वह थोड़ी बहुत पढ़ाई करें कम से कम उसे लिखना पढ़ना तो आ जाए बाकी वह मेरे पति का कारोबार भी संभाल सकती थी क्योंकि आजकल लड़कियां सब कुछ कर रही हैं और मर्दों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर काम कर रही है

मेरे पति का बिजनेस अच्छा था उसको संभालने के लिए अगर उनकी अपनी औलाद उसे संभाले तो इससे अच्छी कोई बात नहीं थी मैंने रम की परवरिश बहुत अच्छे तरीके से की और साल इसी तरह से गुजरने लगे अब वो काफी बड़ी और जवान होने लगी थी अब ऐसा लगता था कि घर में एक नहीं दो-दो औरतें हैं घर के काम भी वह अच्छी तरह से कर लिया करती थी मुझे भी सहारा मिल गया था वह घर के लिए शॉपिंग भी करती थी एक बात तो थी कि वह मुझसे ज्यादा अपने पिता से मोहब्बत करती थी

वैसे भी बेटियां अपने पिता की ही लाडली होती हैं वह मेरे पति से बहुत ज्यादा प्यार किया करती थी उसने हमें अगले दिन से ही मम्मी पापा कहना शुरू कर दिया था यह शब्द सुनने के लिए तो हम तरस गए थे लेकिन खानदान की तरफ से बड़ी परेशानी का सामना करना पड़ा था मेरे पति के रिश्तेदारों ने यहां तक भी कह दिया था कि तुमने सड़क के किनारे से उठाकर उस बच्ची को अपनी औलाद बना लिया ना जान ना पहचान बेवजह ही तुमने उसे अपनी औलाद बना लिया

जबकि इस घर में तुम्हारी पत्नी भी रहती है मेरे पति इस बात पर यही जवाब देते थे कि अब वह मेरी बेटी है और मेरी पत्नी उसकी मां है तो लोग यही कहते कि नहीं वह उसकी मां नहीं है तुम्हें अगर बच्चा ही गोद लेना था तो किसी छोटे से बच्चे को गोद लेते मेरे पति का यही जवाब होता था कि क्या वह छोटा बच्चा हमारा छोटा ही रहता कभी बड़ा नहीं होता तो लोग कहते कि जब तक वह बड़ा होता तो तुम्हारी पत्नी बूढ़ी हो जाती और अभी तो तुम्हारी पत्नी जवान है खूबसूरत है

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और तुम्हें उस बच्ची के असल माता-पिता के बारे में पता लगाना चाहिए था तब जाकर तुम्हें उसे अपने घर में रखना चाहिए था ऐसे ही किसी के भी बच्चे को अपने घर में उठाकर रख लिया वह मासूम बच्ची नहीं थी बल्कि 5 साल की थी और 5 साल का बच्चा समझदार होने लगता है ऐसे ही किसी अनजान को अपने घर में जगह नहीं देनी चाहिए तुम्हें यह सब कुछ अजीब नहीं लगता मेरे पति लोगों के साथ बहुत बहस करते थे कभी-कभी उनका लोगों से इस बात पर झगड़ा भी हो जाया करता था

वह कहते थे कि जो इंसान भरोसा कर रहा होता है वह गलती पर नहीं होता गलती पर वह होता है जो भरोसा तोड़ता है और भरोसा करने वाले को कभी सजा नहीं मिलती मैंने उस बच्ची को सड़क से उठाकर अपनी औलाद बना लिया अब वही मेरी बेटी है और मेरी पत्नी ने उसकी परवरिश की है जो गंदगी आप लोगों के दिमाग में चल रही है उससे मुझे कोई फर्क नहीं पड़ता आप लोग हमें हमारे हाल पर छोड़ दो हमारे घर पर जो थोड़े बहुत रिश्तेदार आते थे

अब उनका भी हमसे मिलना मिलाना कम हो गया था उन्होंने भी हमारे घर आना छोड़ दिया था जिसमें से एक खानदान तो मेरी मां की बेटी का था जो मेरी बहुत अच्छी दोस्त भी थी उसके ना आने जाने पर मुझे बड़ा दुख हुआ था था लेकिन उसकी भी जवान बेटी थी और उसके पति ने कहा कि उन्होंने उस लड़की को सड़क से उठाया है पता नहीं कौन है कैसी है उसके अंदर किसका खून है किस नस्ल की है किस बिरादरी की है इसलिए अब तुम हमारी बेटियों को उनके घर लेकर नहीं जाओगी

मैंने अपने पति से कहा यह सब कुछ तो बहुत अजीब है हमें इस दुनिया में रहना है तो लोगों से रिश्तेदारी भी रखनी होगी कभी-कभी दोस्तों और रिश्तेदारों की जरूरत पड़ ही जाती है मेरे पति ने कहा कि कोई जरूरत नहीं है हमें उनकी कोई जरूरत नहीं नहीं पड़ेगी हम बीमार होंगे तो हमारा इलाज डॉक्टर करेगा हमारे रिश्तेदार नहीं हम अकेले होंगे तो हमारी बेटी हमारा साथ देगी हमारे रिश्तेदार नहीं तो ऐसे लोगों का क्या फायदा क्या वह हमारे घर पर हमारे लिए खाना बनाकर लाते हैं

बात तसल्ली की और समझने वाली होती है किसी ने आज तक यह नहीं समझा कि मैं बे औलाद हूं मैं भी चाहता हूं कि मैं अपने बच्चों पर जो कमाता हूं अपनी कमाई लगाऊं लेकिन जब मेरे पास बच्चे ही नहीं है तो कहां अपना पैसा जाया करूं हर इंसान अपने बीवी बच्चों के लिए ही कमाता है लेकिन मेरे तो बच्चे ही नहीं थे अब जब मैं किसी बेसहारा को यह सब सुकून दे रहा हूं तो लोगों को चैन नहीं मिल रहा रम को इस घर में रखने से मुझे बहुत खुशी मिलती है

लोग चाहे कुछ भी कहें मुझे लोगों की बातों से कोई फर्क नहीं पड़ता हम उन लोगों से कोई ताल्लुक नहीं रखेंगे मैं अपने पति की बात को खामोशी से सुनती रही इसी तरह से दिन गुजरने लगे रम जब जवान हो गई तो हमेशा वह अपने दोस्तों के साथ घूमने फिरने जाया करती थी और अपनी फ्रेंड्स का बहाना लेकर घर में देर से आने लगी थी कहती थी कि मैं अपनी सहेली के घर जा रही हूं एक दिन जब वह घर देर से आई तो मैंने उससे पूछा कि तुम कहां गई थी

रम तो वह मुझसे कहने लगी कि मैं अपनी दोस्त के घर गई थी मैंने उसे कहा कि ऐसी कौन सी दोस्त बना ली है तुमने जो आधी आधी रात को तुम्हें अपने घर पर बुलाती है ऐसे दोस्तों के साथ तुम्हें दोस्ती नहीं रखनी है मैं नहीं चाहती कि तुम पर कोई उंगली उठाए ना जाने क्यों उसे आज मेरी बातों पर बहुत गुस्सा आ रहा था वह मुझसे बहुत ही दूर दूर रही थी हालांकि मैंने उसे मां बनकर पाला था उसका मेरे साथ ऐसा बिहेवियर नहीं था वह मेरे पति के साथ खुश रहती थी

उनके काम भी करती थी उनको अपने दिन भर की कहानी भी सुनाती थी और उनको खुश करने के लिए कुछ भी कर सकती थी एक दिन मुझे मेरे पति ने कहा कि घर के दरवाजे बहुत गंदे हो रहे हैं तुम उनको साफ क्यों नहीं करती हो मैंने कहा कि मैं बहुत बिजी रहती हूं मैंने नौकरानी से कहा था उसने ठीक से नहीं किया मैं खुद कर दूंगी लेकिन मेरे पास इतना टाइम नहीं था तो रम ने यह काम कर दिया हालांकि वह कुछ थकी आ रही आई थी

मेरे पति ने उसकी बहुत तारीफ की और कहा कि देखो मेरी बेटी कितनी अच्छी है और कितने अच्छे तरीके से काम करती है उसके बाद रम ने अपने पापा के लिए अच्छी सी चाय बना कर दी एक दिन मेरे पति की वॉच तो उट गई थी तो वह अपने पापा के लिए मार्केट से जाकर वॉच भी लेकर आ गई थी मैंने कहा रम तुम्हारे पास वॉच के लिए पैसे कहां से आए तो वह कहने लगी कि वही पैसे जो आप लोग मुझे देते हो मैं उसको जमा करती रहती हूं उन्हीं पैसों में से मैं पापा के लिए वॉच लेकर आई हूं

हमने रम को कभी झूठ नहीं बोला था कि हम उसके मां-बाप नहीं हैं वैसे भी वह इतनी बड़ी थी कि उसे यह बात याद रही थी क्योंकि जब वह हमारे घर पर आई थी तो वह दूध पीती बच्ची नहीं थी लेकिन आजकल उसने एक अजीब सी हरकत करना शुरू कर दी थी व मेरे पति के सामने मुझे नीचा दिखाने लगी थी एक दिन वह मुझसे कहने लगी कि मम्मी बड़ी सुस्त है मैंने तो आज घर के सारे काम किए हैं और ऐसी-ऐसी जगह को साफ किया है जो कभी मम्मी ने भी साफ नहीं की थी

देखिए आज घर कितना अच्छा लग रहा है मेरे पति ने भी कहा कि हां तुम्हारी मम्मी तो कुछ करती ही नहीं है और ना ही नौकरानी से कोई काम करवाती हैं उसके सर पर खड़ी नहीं होती बस हमेशा बिस्तर पर जाकर सो जाती है नौकरानी भी अपनी मर्जी से काम करती है और तुम्हारी मम्मी भी अपनी मर्जी से ही काम करती हैं इस घर में कोई आता जाता नहीं है इसलिए तुम्हारी मम्मी को घर के साफ सफाई की ज्यादा परवा नहीं है तुम्हारी मम्मी को नहीं पता कि घर में साफ सफाई कितनी जरूरी होती है

आज मेरे पति की आदत में बदलाव आने लगा था मेरे पति मेरा साथ अच्छा बिहेवियर नहीं करते थे बस हम दोनों एक दूसरे के साथ लेकर फॉर्मेलिटी निभा रहे थे और बस हम सफर थे अब हमें और तो कोई मिलना नहीं था कम से कम मुझे तो किसी की जरूरत थी क्योंकि मैंने कोई बच्चा पैदा नहीं किया फिर भी मेरी सेहत बड़ी खराब रहती थी क्योंकि मैं टेंशन बहुत लेती थी मेरे पति कभी-कभी मेरी तरफ से लापरवाह हो जाते थे ऐसे जैसे मैं इस घर में किसी के लिए कुछ हूं ही नहीं

और फिर अपने मतलब के लिए ही मैं अपने पति को याद आ जाती थी बस जिंदगी इसी तरह से गुजर रही थी हम दोनों में तो पहले ऐसा बिल्कुल भी नहीं था मेरे पति ने पहले ही कभी पूरी तरह जताया ही नहीं था लेकिन उनके दिल में मेरी तरफ से यह कमी आ गई थी कि मेरी वजह से उनकी अपनी औलाद नहीं हुई और उनकी आधी से ज्यादा जिंदगी गुजर गई इस कसर को निकालने के लिए वह अलग-अलग तरीके इस्तेमाल करते थे मुझे भी दबे दबे शब्दों में ताने देते रहते थे

कभी-कभी कहते थे कि मैं किसी काम की नहीं हूं और मैंने कभी कुछ नहीं किया मुझे घर चलाना नहीं आता मुझे खरीदारी नहीं आती तो कभी रम के साथ मिलकर मेरी मजाक उड़ाते थे बस मैं चुपचाप यह सब कुछ बर्दाश्त करती रहती थी और मैं क्या कर सकती थी अगर मैं कहती कि तुम मुझ पर ताने मार रहे हो तो वह कहते कि नहीं हम तो अपनी बातें कर रहे हैं वह दोनों मिलकर मेरा मजाक उड़ाते रहते थे मेरे पति रम को भी अपने जैसा बना रहे थे

एक दिन मैंने रम से कहा कि तुम अपने पापा की इतनी ज्यादा खुशामद मत की करो तुम मुझे उनके सामने इतना बुरा बनाती रहती हो अगर वह तुम्हारे पिता हैं तो मैं भी तो तुम्हारी मां हूं तुम्हें अपनी मां का मजाक उड़ाते हुए शर्म नहीं आती मेरी इस बात पर वह गुस्सा करने लगी उसने मुझसे कहा कि मैं आपको बुरा नहीं बनाती आप हो ही इतनी बुरी आपको ना तो घर संभालना आता है और ना ही कोई काम करना आता है और आपका पकाया हुआ खाने से अच्छा है कि इंसान भूखा ही रहे

मैंने इरम के मुंह पर थप्पड़ मार दिया मैंने कहा कि मैंने तुम्हें यह तमीज नहीं सिखाई थी कि अपनी मां से तुम इस तरह से बात करो अपनी मां से इतनी बदतमीजी से बात करने की तुम्हारी हिम्मत भी कैसे हुई मैं तुम्हारे लिए कितना मैंने तुम्हारे लिए कितना कुछ किया और तुम मुझे ही बातें सुना रही हो ऐसी परवरिश तो नहीं थी मेरी इस बात से रम के चेहरे पर मेरे लिए इतनी नफरत उभर आई थी कि जैसे वही कहने वाली है कि तुम तो मेरी मां हो ही नहीं लेकिन वह खामोश खड़ी रही

और घर से चली गई रात को उसने यह बात अपने पिता को बता दी और मेरी क्लास भी लगवाई उसने अपने पिता को बताया कि आज मम्मी ने मुझे बेवजह डांटना शुरू कर दिया और मेरे मुंह पर थप्पड़ भी मार दिया मेरे पति ने मुझसे कहा कि यह तुम्हारी कोक से पैदा नहीं हुई है यह मेरी बेटी है जो इसको तुम कुछ भी कह दोगी और तुम्हारी हिम्मत कैसे हुई कि तुमने मेरी बेटी पर हाथ उठाया इसको इस घर में मैं लेकर आया हूं तो इसीलिए इसके जज्बात की कदर करो

आज के बाद अगर तुमने इसको हाथ भी लगाया तो मैं तुम्हें घर से बाहर निकाल दूंगा मैंने अपने पति को जवाब दिया कि यह मेरे पेट से पैदा नहीं हुई तो क्या मैंने इसको पाला तो है क्या पालने वाली मां का कोई मकाम नहीं होता मेरे पति ने कहा कि आजकल तो पैदा करने वाली मां का भी कोई मकाम नहीं दिया जाता बच्चे बहुत बदतमीज हो गए हैं अपनी इज्जत अपने हाथ में होती है आइंदा मेरी बेटी पर हाथ मत उठाना यह मत समझना कि जैसे वह कोई छोटी बच्ची है

और जवान लड़की पर हाथ कौन उठाता है तुम्हें खुद सोचना चाहिए मेरे पति भी इरम के साथ मिल गए थे मैं हैरान थी और उन दोनों को उनके हाल पर छोड़ दिया सबसे ज्यादा दुख तो मुझे इस बात पर हुआ था कि मेरे पति ने ने मुझसे कहा कि मैं तुम्हें इस घर से निकाल दूंगा आखिर मैंने रम को पालने के लिए क्या कुछ नहीं किया मैं उन दोनों से अब बात नहीं करती थी घर में चुपचाप ही रहती थी जब एक दिन मेरे पति घर पर नहीं थे तो रम ने मेरे साथ ऐसा किया कि मेरे पैरों तले से जमीन ही निकल गई थी

मैं सोच भी नहीं सकती थी कि वह कभी ऐसा भी कर सकती है वह किसी से फोन पर कह रही थी कि आ जाओ वैसे भी वह औरत घर में अकेली है और पापा के आने में अभी कुछ घंटे हैं वह पता नहीं किसको बुला रही थी मेरे दिल में अजीबोगरीब ख्याल आ रहे थे और उल्टे सीधे सवाल जागने लगे थे थोड़ी देर के बाद दरवाजे पर दस्तक हुई और जब मैंने दरवाजा खोला तो जो लोग बाहर खड़े हुए थे मैं उनको नहीं जानती थी उनमें से एक औरत थी

और एक जवान लड़की जो कि दुल्हन बनी हुई थी मैंने कहा जी आप कौन तो वह कहने लगी कि हमें राशिद फारूक के घर जाना है मैंने कहा कि हां यह राशिद फारूक का ही घर है लेकिन आपको किससे काम है तो उन्होंने कहा कि हमें राशिद फारूक से ही काम है वो मुझसे पूछ रहे लगी कि तुम कौन हो मैंने कहा कि मैं उनकी पत्नी हूं उन्होंने कहा कि अच्छा पत्नी हो वह मुझे एक साइड पर करके घर के अंदर घुसी चली आई और सोफे पर बैठकर मेरे पति का इंतजार करने लगी

मैंने कहा कि आप कौन हो और ऐसे कैसे जबरदस्ती हमारे घर में घुस सकती हो मैं आपको नहीं जानती और आपने अपनी बेटी को दुल्हन क्यों बनाया हुआ है उन्होंने कहा कि दुल्हन को दुल्हन ही बनाया है यह औरत तो मुझे बहुत ही ज्यादा चालाक लग रही थी थोड़ी देर के बाद मेरे पति आए तो वह अकेले नहीं थे बल्कि उनके साथ चार लोग भी थे मैंने अपने पति से कहा कि यह क्या हो रहा है तो मेरे पति ने कहा कि तुम जरा जाकर मेहमानों के लिए नाश्ता लगाओ

मुझे कुछ अजीब लग रहा था क्योंकि एक आदमी मौलवी भी थे जिसने हाथ में रजिस्टर भी पकड़ा हुआ था मेरे दिल में ना जाने कैसे-कैसे ख्याल आ रहे थे कहीं मेरे पति का तो निकाह नहीं हो रहा था मैं नाश्ता बनाने के लिए किचन में चली गई थोड़ी देर के बाद जब मैं बाहर आई तो मैंने देखा कि मौलवी साहब मेरे पति का ही निकाह पढ़ा रहे थे मैं फौरन भाग और मैंने कहा कि यह सब कुछ क्या हो रहा है तो इरम ने पकड़ के मुझे साइड पर कर दिया

और कहने लगी मम्मी आप मेरे साथ आओ ऐसा यहां पर पापा के दोस्तों के सामने तमाशा लगाने की कोई जरूरत नहीं है वह मुझे अपने साथ दूसरे कमरे में ले गई मैंने कहा कि यह सब कुछ क्या हो रहा है मैं बुरी तरह से घबरा गई थी मेरे पति का निकाह हो रहा था मैं अपने पति की शादी को रोकना चाहती थी यहां तक कि मैं बाहर जाने लगी लेकिन रम ने मेरा हाथ बहुत मजबूती के साथ पकड़ा हुआ था और मुझे कमरे के अंदर बंद कर रही थी मैंने कहा कि तुम यह क्या कर रही हो

प्लीज रम मुझे जाने दो नहीं तो बहुत देर हो जाएगी रम ने कहा कि देर तो हो चुकी है और मैं इस घर में बहुत बड़ी मुसीबत लेकर आ गई हूं मैंने कहा कि तुम्हारा क्या मतलब है रम मेरा हाथ नहीं छोड़ रही थी थोड़ी देर के बाद मुझे बाहर से आवाज आई सब एक दूसरे को मुबारकबाद दे रहे थे और शुक्र अदा कर रहे थे इसका मतलब कि निकाह हो चुका था मैं अपने घुटनों के बल जमीन पर बैठे ऐसे रो रही थी जैसे मेरे शरीर की जान निकल रही हो मैं तो 35 साल की थी

और मेरा इस दुनिया में कोई भी नहीं था मेरे पति ने इस उम्र में आकर दूसरी शादी कर ली थी मुझे यकीन नहीं हो रहा था लेकिन मर्द तो इतनी जल्दी बूढ़ा नहीं होता कुछ देर के बाद रम ने बाहर से दरवाजा खोल दिया जब मैं बाहर गई तो निकाह हो चुका था और वह लड़की भी मेरे पति के पास बैठी हुई मुस्कुरा रही थी और मेरी तरफ देख रही थी और उसकी मां उसकी बलाई ले रही थी मेरे पति ने भी मुझे अजीब सी नजरों से देखा मेरी आंखों में आंसू थे

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मैं हार चुकी थी मेरे पति ने उन लोगों से कोई पर्सनल बात की और वह लोग मेहमानों वाले कमरे में चले गए थे और मैं अपने कमरे में आ गई थी कुछ देर बाद मेरा पति कमरे में आया मैं उसे देखकर रो रही थी वह मेरे साथ ऐसा बिहेव कर रहा था जैसे वह मुझे जानता ही नहीं है मैंने कहा कि यह सब कुछ क्या है उसने कहा कि मैंने जो किया बिल्कुल ठीक किया हां यह बात अलग है कि मुझे यह काम 8 साल पहले ही कर लेना चाहिए था मेरी अभी भी औलाद हो सकती है

मैं औलाद पैदा करना चाहता हूं मुझे बेटे की तमन्ना है और मेरी बेटी भी चाहती है कि उसके भी भाई हो तुम्हारे साथ तो यह सब कुछ पॉसिबल नहीं है इसीलिए मैंने दूसरी शादी कर ली है और मैंने दूसरी शादी कर ली तो क्या हो गया अभी तक तुम्हें छोड़ा तो नहीं है बस इस घर में वैसे ही रहो जैसे पहले रहती थी बाकी मैं कोई उल्टी-सीधी बातें और रोज-रोज के झगड़ों में नहीं पड़ना चाहता अगर तुम्हें इस तरह की जिंदगी कबूल नहीं है तो तुम मुझे बता दो

मैं तुम्हें आजाद कर दूंगा मेरा पति इतना कहकर कमरे से बाहर चला गया था और थोड़ी देर बाद एरम कमरे में आ गई उसने मुझसे कहा कि मम्मी फिक्र मत करो सब कुछ ठीक हो जाएगा और फिर कमी भी तो आपके अंदर ही है ना अपापा ने आपको अगर इस घर में रखा हुआ है तो आपको उनका शुक्रिया अदा करना चाहिए मैं हैरान थी कि इसे मुझसे इतनी नफरत क्यों थी इसलिए कि मैंने इसे बचपन से पाला था थोड़ा सा डांट देती थी कभी एक दो थप्पड़ लगा देती थी

मां तो सब कुछ करती है अपनी औलाद की परवरिश में अब मुझे रम पर बहुत गुस्सा आ रहा था क्योंकि उसने ही यह सब कुछ करवाया था वही उस औरत के घर जाया करती थी और वह उस लड़की के छोटे भाई से प्यार करती थी और उससे शादी करना चाहती थी लेकिन उस लड़की के भाई ने कहा कि पहले मेरी बड़ी बहन की शादी होगी उसके बाद ही मैं शादी करूंगा और उसकी बड़ी बहन की शादी की उम्र गुजर चुकी थी वह 32 साल की हो गई थी रम ने उससे कहा कि मेरे पास एक रिश्ता है

बड़े ही अमीर आदमी है उनका बहुत अच्छा बिजनेस है उसने अपने पिता का रिश्ता उन लोगों के आगे पेश कर दिया और मेरे पति को भी लड़की का फोटो दिखा दिया और उनको धीरे-धीरे मनाती रही मुझे बाद में पता चला कि उसने दो महीने तक मेरे पति को मनाया और उसके बाद मेरे पति को इस बात पर राजी किया यह बात मुझे रम ने ही बताई थी रम की बातें सुनकर मेरे पैरों तले से जमीन निकल गई थी वह काफी टाइम से मेरे पति को उसकी तस्वीरें दिखाकर राजी कर रही थी

आखिर मेरा पति मर्द था और वह लड़की कुंवारी थी और खूबसूरत थी मेरे पति ने उसके साथ मिलकर यह सारा प्लान बनाया रम ने मेरे पति के दिमाग में यह बात डाल दी थी कि अगर उन्होंने दूसरी शादी कर ली तो उनके यहां बेटा पैदा हो सकता है और रम को भी भाई की तमन्ना है उसे पता था कि उसके पिता की शुरू से ख्वाहिश रही है कि उनके पास बेटा हो जो उनकी नस्ल को आगे बढ़ा सके उन दोनों ने सारा प्लान बनाया और मुझे बताना भी जरूरी नहीं समझा

ताकि मैं कोई हंगामा ना खड़ा कर दूं मैं हैरान थी कि मेरी सौतेली बेटी ने मुझ पर इस जिंदगी का सबसे बड़ा जुल्म कर दिया था मेरे पति जिसने मुझे आज तक बे औलाद ना होने तक का ताना नहीं दिया था आज वह दूसरी शादी कर बैठा और मुझे तलाक की धमकी दे रहा था कह रहा था रहना है तो रहो वरना मैं तुम्हें आजाद कर दूंगा मैं बता नहीं सकती कि मेरे ऊपर क्या गुजर रही थी मेरे साथ इतना बड़ा जुल्म किया आखिर मेरा कसूर क्या था अगर मैं मां नहीं बन सकती थी

तो इसमें मेरी क्या गलती थी मेडिकल कंडीशन तो किसी के साथ भी हो सकती है अब तो मेरी जिंदगी गुजर गई थी मैं कहीं और भी नहीं जा सकती थी बस इसी घर के किसी कोने में पड़ी रहती थी रम मेरा पति और मेरे पति की दूसरी पत्नी तीनों ने मिलकर मेरे खिलाफ एक साजिश रचाई थी वह तीनों मिलकर बाहर जाते घूमने के लिए और खूब मजे करते थे कुछ दिनों बाद पता चला कि मेरे पति के यहां औलाद होने वाली थी और मेरी जिंदगी बस एक कमरे में ही गुजर रही थी

मैं बहुत बुरी जिंदगी गुजार रही थी लेकिन अब मैं इस जिंदगी से बहुत ज्यादा तंग आकर रह गई थी इसीलिए मैंने फैसला किया कि मैं इस घर को छोड़कर चली जाऊंगी क्योंकि मुझे उन लोगों को अपनी खुशियों को मारते हुए नहीं देखा जाता मुझे पता था कि अगर मेरे पति के यहां बेटा पैदा हो गया तो उस उसके दिमाग आसमान पर चढ़ जाएंगे और वह मुझे और भी ज्यादा बुरा समझने लगेगा मैं पढ़ी-लिखी थी इसलिए मैंने अपने पढ़े-लिखे होने का फायदा उठाया जब मैंने अपना सामान पैक किया

तो उन तीनों ने मुझे रोकने की कोशिश भी नहीं की और मुझे जाने दिया बल्कि वह तीनों मेरे घर से जाने पर बहुत ज्यादा खुश हो गए थे मैं रोती हुई उस घर से बाहर निकल आई ना जाने अब मेरी मंजिल कहां थी मैं तो बस घर से निकल गई थी क्योंकि घर में रहकर भी मेरी जिंदगी खराब हो रही थी काफी साल मैंने इस घर में अपनी जिंदगी को बर्बाद बात कर लिया था अब मैं नहीं चाहती थी कि मैं अपनी आगे की जिंदगी को इन लोगों के हवाले करूं अब जो होता सो होता

इसीलिए मैं उस घर को छोड़कर रेलवे स्टेशन चली गई थी ना जाने मुझे वहां से कहां जाना था बस फिर ट्रेन आने का इंतजार कर रही थी तभी रेलवे स्टेशन पर मुझे मेरी काफी सालों पुरानी सहेली मिल गई वह मुझे देखते ही पहचान गई हम दोनों साथ ही कॉलेज में पढ़ा करते थे उसने मुझे देखा तो मेरी हालत पर अफसोस करने लगी मैंने उसे अपने बारे में सब कुछ बता दिया और कहा कि मैं यह शहर छोड़कर जा रही हूं अपने पति का घर तो छोड़ ही आई हूं

इसलिए अब आगे की मंजिल के बारे में सोच रही हूं अब जो मेरे नसीब में होगा वह हो जाएगा फिर मैं अपनी दोस्त से उसके बारे में पूछा कि तुम इतने सालों से कहां थी और तुम्हारी जिंदगी में सब कुछ कैसा चल रहा है उसने मुझे बताया कि मेरी जिंदगी तो बहुत अच्छी गुजर रही है मेरे पास दो बेटियां हैं और मेरे पति भी बहुत अच्छे हैं मेरे पति का बिजनेस भी अच्छा है और मैं एक एनजीओ चलाती हूं मैंने उस एनजीओ को अभी ही शुरू किया है अगर तुम चाहती हो

तो मेरे साथ इस एनजीओ में काम कर सकती हो मैं तुम्हें रहने के लिए जगह भी दूंगी और खाने के लिए खाना भी दूंगी और तुम्हें वहां पर काम करने की सैलरी भी दूंगी अपनी दोस्त की बात सुनकर मुझे तसल्ली हो गई थी इसीलिए मैं उसके साथ जाने के लिए तैयार हो गई और अब मैं एक एनजीओ में काम करती हूं यहां पर मेरी जिंदगी बहुत अच्छी गुजर रही है मैं अपने बीते हुए कल को भूल गई हूं जब मुझे एनजीओ में काम करते हुए एक साल हो गया तो मेरा पति ना जाने मुझे कहां-कहां ढूंढ रहा था

और उसे किसी ने बताया कि मैं एनजीओ में काम करती हूं इसलिए वह मेरा पता लेकर मुझसे मिलने के लिए वहीं पहुंच गया जब मैंने अपने पति को अपने सामने खड़ा हुआ देखा तो मैं हैरान रह गई थी मेरे पति की हालत तो बहुत ज्यादा खराब हो गई थी और वह मेरे सामने हाथ जोड़े हुए खड़े थे उनकी आंखों में आंसू थे मैं उनसे बात नहीं करना चाहती थी लेकिन मेरे पति ने कहा कि एक बार मैं उनकी बात तो सुन लूं उन्होंने मुझसे माफी मांगी और कहने लगे कि नादिया मुझे माफ कर दो

मैंने तुम्हारे साथ बहुत बुरा सुलूक किया जिस लड़की से मैंने शादी की थी वह मेरे सारे पैसे लेकर भाग गई और तो और वह प्रेग्नेंट भी नहीं थी वह झूठ बोल रही थी यह सब कुछ एरम ने ही किया था और जिस लड़की से एरम प्यार किया करती थी वो उसकी इज्जत के साथ खेलकर उसे बेइज्जत करके बीच रास्ते में ही छोड़ गया उस लड़के ने उससे शादी नहीं की बल्कि अपनी बहन को मेरे हवाले कर दिया था उन दोनों भाई बहन की प्लानिंग थी वह हमसे पैसे हड़पना चाहते थे

रम अस्पताल में है और जिंदगी और मौत के बीच लड़ रही है मेरे पास सीरम को बचाने के लिए पैसे नहीं है मैं बहुत ज्यादा परेशान हो गया हूं इसलिए मुझे याद आया कि मैंने तुम्हारा दिल दुखाया था इसलिए मैं तुमसे माफी मांगने के लिए आया हूं प्लीज तुम मुझे माफ कर दो ताकि मेरे सर से य परेशानियों का बोझ खत्म हो जाए मैं किसी भी हाल में अपने पति को माफ करने के लिए तैयार नहीं थी लेकिन जब उन्होंने मुझे अपनी परेशानियों के बारे में बताया तो मेरा दिल कमजोर पड़ गया

और मैंने अपने पति को माफ कर दिया मेरे पति का कहना था कि वह मुझे अपने साथ अपने घर लेकर जाना चाहते हैं क् क्योंकि अभी तक उन्होंने मुझे तलाक नहीं दी थी मैं खुद ही उस घर को छोड़कर आई थी लेकिन मैं अपने पति के साथ नहीं जाना चाहती थी क्योंकि वहां पर मेरे साथ बहुत बुरा सुलूक हुआ था मैं उस बात को नहीं भूल सकती थी मैंने अपने पति को माफ तो कर दिया लेकिन मैं उनके साथ जाने के लिए तैयार नहीं हुई एनजीओ में ही मेरी जिंदगी बहुत अच्छी गुजर रही थी

अब मैं उस घर में दोबारा जाकर अपनी जिंदगी बर्बाद नहीं करना चाहती थी और ना ही पुरानी बातों को याद करना चाहती थी मेरे पास जो कुछ पैसे थे मैंने वो पैसे इरम के इलाज के लिए अपने पति को दे दिए लेकिन मैंने उनके साथ जाने के लिए साफ इंकार कर दिया और कहा कि वह मुझे जल्द से जल्द तलाक दे दें मैंने अब अपनी जिंदगी सनजियो के ही हवाले कर दी है मैं यहां पर बहुत खुश हूं मेरे पति मेरे आगे बहुत रोए गिड़गिड़ा आए लेकिन मैंने उनकी एक नहीं मानी

और वह वहां से रोते हुए चले गए उसके बाद मुझे उन दोनों की कोई खबर नहीं और ना ही मैं उन दोनों के बारे में कोई खबर रखना चाहती थी क्योंकि मैंने अपने पति से साफ मना कर दिया था कि मैं उनसे नहीं मिलना चाहती और मुझे उनसे तलाक चाहिए बस अब मैं अपनी जिंदगी में बहुत खुश हूं क्योंकि अब मुझे लोगों का साथ नहीं चाहिए

 

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